

बड़ी खबर राजस्थान: राज्य मंत्रिमण्डल की बैठक- प्रदेश के आर्थिक, सामाजिक और शैक्षिक विकास के लिए 35 प्रस्तावों पर मंत्रिमंडल का अनुमोदन, पढ़ें पुरी खबर…..
राजस्थान में संगठित अपराधों की रोकथाम के लिए विधेयक का अनुमोदन – राज्य वन, जलवायु परिवर्तन, ई-वेस्ट प्रबन्धन नीति का अनुमोदन – ओबीसी, एमबीसी वर्ग के नॉन क्रिमिलयर अभ्यर्थियों की एमबीबीएस की ट्यूशन फीस माफ – नागौर में सरकारी भूमि पर बनेगा ब्राडगेज डेडिकेटेड रेल लाइन
जयपुर, @Marusangram। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की अध्यक्षता में बुधवार को विधानसभा में राज्य मंत्रिमंडल की बैठक आयोजित हुई। प्रदेश में आर्थिक, सामाजिक विकास, उच्च शिक्षा को बढ़ावा देने, राज्य कर्मचारियों को प्रोत्साहित करने, औद्योगिक गतिविधियों को बढ़ावा देने और संगठित अपराधों को नियंत्रित करने सहित विभिन्न महत्वपूर्ण प्रस्तावों का अनुमोदन किया गया।
दी राजस्थान कन्ट्रोल ऑफ आर्गनाइज्ड क्राइम बिल-2023 का अनुमोदन
मंत्रीमण्डल ने राजस्थान संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक-2023 का अनुमोदन किया है। इसे शीघ्र ही विधानसभा में लाया जाएगा। इसमें जिसके विरूद्ध पिछले दस सालों में न्यायालय में एक से अधिक आरोप पत्र पेश किया गया हो एवं न्यायालय ने उस पर प्रसंज्ञान लिया हो। साथ ही जिसने संगठित अपराध गिरोह के सदस्य के रूप में कोई अपराध, जो संज्ञेय व तीन साल या अधिक अवधि के लिए दंडनीय हो, उस व्यक्ति के विरूद्ध कार्यवाही की जा सकेगी। साथ ही संगठित अपराध में किसी व्यक्ति द्वारा, संगठित अपराध गिरोह के सदस्य के रूप में या ऐसे गिरोह के लिए, किसी आर्थिक लाभ या अन्य किसी लाभ प्राप्त करने के उददेश्य से हिंसा या धमकी या जबदस्ती करना शामिल किया गया है। संगठित अपराध गिरोह में दो या दो से अधिक व्यक्तियों का गिरोह, जिसके द्वारा संगठित रूप से अपराध कारित किया जाता है पर कार्रवाई की जाएगी।
बिल में उम्रकैद तक सजा के प्रावधान
इसमें पीड़ित की मृत्यु होने पर अपराधी को मृत्युदंड या आजीवन कारावास एवं न्यूनतम एक लाख रुपए का अर्थदंड का प्रावधान किया गया है। साथ ही आपराधिक षड़यंत्र, गिरोह के सदस्यों को शरण देने के लिए न्यूनतम पांच साल का कारावास जो अधिकतम आजीवन कारावास हो सकेगा। साथ ही न्यूनतम पांच लाख रुपए जुर्माने का प्रावधान किया गया है। वहीं, संगठित अपराध से सम्पत्ति अर्जित करने पर न्यूनतम तीन साल का कारावास जो अधिकतम आजीवान कारावास हो सकेगा, का प्रावधान किया गया है। साथ ही लोक सेवक जिसने संगठित अपराध में सहयोग किया है, उसे अधिकतम तीन साल का कारावास और अर्थदंड देने का प्रावधान है।
राजीव गांधी फिनटेक इंस्टीट्यूट जोधपुर विधेयक का अनुमोदन
मंत्रिमंडल ने राजीव गांधी फिनटेक डिजिटल इंस्टीट्यूट को जोधपुर में स्थापित करने से संबंधित विधेयक का अनुमोदन किया है। विधेयक को विधानसभा में प्रस्तुत किया जाएगा। इंस्टीट्यूट डीम्ड पब्लिक यूनिवर्सिटी की तरह कार्य करेगा। इसमें डिजिटल एवं वित्तीय प्रौद्योगिकी डोमेन में प्रमाण पत्र कोर्सेज तथा डिप्लोमा कोर्सेज की सुविधा उपलब्ध होगी। इन-हाउस इन्क्युबेशन सेंटर की मदद से भविष्य के उद्यमियों को अपने फिनटेक उत्पादों को डिजाइन और डेप्लॉय करने में सुविधा मिलेगी। यहां फिनटेक इनोवेशन इकोसिस्टम भी विकसित होगा। इंस्टीट्यूट राजस्थान में स्टार्टअप सहित फिनटेक उद्योगों को आकर्षित करेगा।
वर्गमीटर भूमि रियायती दर पर आवंटित करने का निर्णय लिया है। इस जमीन पर संस्था द्वारा 1 करोड़ रूपए की लागत से छात्रावास का निर्माण किया जाएगा, जिससे समाज की प्रतिभावान छात्राओं को लाभ मिलेगा।
जानवरों के उपचार के लिए हैल्प इन सफरिंग ट्रस्ट को भूमि आवंटित
हैल्प इन सफरिंग ट्रस्ट को ग्राम कानोता, तहसील-बस्सी में जेडीए की अनुमोदित कानोता बहुउद्देशीय येाजना में भूमि का आंवटन किये जाने का निर्णय लिया है। आवंटित भूमि पर बनने वाले भवन में लावारिस जानवरों का उपचार हो सकेगा।
सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग को
28.63 एकड़ भूमि का निःशुल्क आवंटन
मंत्रिमंडल में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग को खसरा नंबर 165 मि. व खसरा नंबर 448 मि. कुल रकबा 40 एकड़ में से 28.63 एकड भूमि निःशुल्क आवंटित किए जाने पर अनुमोदन हुआ। यह भूमि विभाग द्वारा आर्थिक, सामाजिक रूप से पिछड़े लोगों, वृद्धों एवं दिव्यांगों के उद्धार में उपयोग ली जाएगी। उल्लेखनीय है भूमि का उपयोग खेल मैदान, स्पेशलाइजेशन पार्क, योगा, मेडिटेशन केंद्र के रूप में इस्तेमाल करेगा।
सैन समाज को बीकानेर में हॉस्टल के लिए भूमि आवंटित
मंत्रिमंडल ने बीकानेर में सैन समाज को छात्रावास के लिए 1700 वर्गगज भूमि रियायती दर पर आवंटन करने का अनुमोदन किया है। इससे समाज के विद्यार्थियों को शिक्षण कार्य एवं आवास की व्यवस्था उपलब्ध होगी।
